आदिवासी अस्मिता के नाम पर छिड़ा युद्ध, पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के पोस्ट पर सीएम साय के सलाहकार ने दिया जवाब…
रायपुर। आदिवासी अस्मिता के नाम पर प्रदेश में सियासी युद्ध छिड़ गया है. इसमें पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के सरकार पर हमले का जबाव मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के मीडिया सलाहकार पंकज झा दे रहे हैं. इस युद्ध को करीब से देख रहे लोग इसके अलग-अलग मायने निकाल रहे हैं.
दरअसल, मुख्यमंत्री विष्णु देव साय आज याने बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती पर जशपुर से माटी के वीर नाम से पदयात्रा निकाल रहे हैं. इस कार्यक्रम को लेकर छत्तीसगढ़ सरकार की ओर से विज्ञापन पर कटाक्ष करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने एक्स पर किए अपने पोस्ट में लिखा है कि इस विज्ञापन के साथ भाजपा द्वारा छत्तीसगढ़ को दिल्ली के हाथों गिरवी रखने का आधिकारिक एलान हो चुका है. उन्होंने छत्तीसगढ़ सरकार के विज्ञापन में आदिवासी मुख्यमंत्री के नजर नहीं के साथ बिरसा मुंडा को जल, जंगल और जमीन के रखवाले बताते हुए हसदेव जंगल को उजाड़ने का आरोप लगाया है.
इस पोस्ट के जबाव मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के मीडिया सलाहकार पंकज झा ने पूर्व मुख्यमंत्री के साथ कांग्रेस पर आदिवासी सम्मान के नाम पर घड़ियाली आंसू बहाने का आरोप लगाते हुए लिखा कि आदिवासी विरोधी अपराधों का अनंत सिलसिला है, जिसे गिनाते-गिनाते गिनती कम पड़ जाएगी. कांग्रेस पार्टी को प्रदेश में सरकार में दो बार रही, एक बार जिस आदिवासी को मुख्यमंत्री बनाया वे नकली निकले.
पंकज झा ने इसके साथ भूपेश बघेल पर तंज कसते हुए लिखा कि दूसरी बार जब आपको मौका मिला, तो सरगुजा और बस्तर के लगभग सभी विधायक आपकी पार्टी के होने के बावजूद एक आदिवासी द्रौपदी मूर्मू जब राष्ट्रपति बन रहीं थीं तो आपने और आपकी पार्टी ने उन्हें पराजित करने में जी-जान लगा दी थी. यहां तक जब वे चुनकर आईं तो आपकी पार्टी के बड़े राष्ट्रीय कहे जाने वाले नेता ने उन्हें ‘राष्ट्रपत्नी’ जैसे भद्दे शब्द कह कर उनकी खिल्ली उड़ायी, अपमानित किया. अब पस्त-परास्त होने के बाद आपको आदिवासी याद आ रहे हैं.
हसदेव जंगल का जिक्र करते हुए पंकज झा ने लिखा कि कांग्रेस सरकार पर हसदेव का सौदा करने का आरोप लगाते हुए कहा कि उस दौरान भाजपा के विरोध पर अजीब बयान दिया. जब छत्तीसगढ़ की जनता ने कांग्रेस के ‘एटीएम’ को छत्तीसगढ़ से उखाड़ फेंका है, तो अब पड़ोसी राज्य तेलंगाना को कांग्रेस का एटीएम बना दिया गया है. उन्होंने तेलंगाना सरकार के अडाणी के साथ हुए समझौते का जिक्र करते हुए तंज कसा कि क्या अब वाया तेलंगाना हसदेव का ‘बकाया’ वसूला जा रहा है?